अलीगढ़ में बन रहा है, सबसे बड़ा ताला जिसे खोलने लगेगी 25 किलो की चाभी

टीम भारत दीप |

छह फीट दो इंच लंबे और दो फीट साढ़े नौ इंच चौड़े ताले को बनाने में 65 किलोग्राम से अधिक पीतल का इस्तेमाल किया गया है।
छह फीट दो इंच लंबे और दो फीट साढ़े नौ इंच चौड़े ताले को बनाने में 65 किलोग्राम से अधिक पीतल का इस्तेमाल किया गया है।

आपकों बता दे उत्तर प्रदेश का अलीगढ़ जिला तालों के निर्माण के लिए विश्व में ख्याति अर्जित किया है। यहां बनने वाले ताले देशभर में लोगों को सुरक्षा की गारंटी देते है। अलीगढ़ के ज्वालापुरी में दुनिया का सबसे बड़ा ताला बनकर तैयार है। जिसका वजन लगभग 300 किलोग्राम से अधिक बताया जा रहा है।

अलीगढ़। ताला एक ऐसा शब्द जो हर किसी को सुरक्षा का एहसास दिलाता हैं, बात चाहे घर की सुरक्षा की हो या दुकान की ताला लग जाने से मन निश्चिंत हो जाता है।  

आपकों बता दे उत्तर प्रदेश का अलीगढ़ जिला तालों के निर्माण के लिए विश्व में ख्याति अर्जित किया है। यहां बनने वाले ताले देशभर में लोगों को सुरक्षा की गारंटी देते है। अलीगढ़ के ज्वालापुरी में दुनिया का सबसे बड़ा ताला बनकर तैयार है।

जिसका वजन लगभग 300 किलोग्राम से अधिक बताया जा रहा है। इस ताले को एक स्थान से दूसरे स्थान पर ले जाने के लिए क्रेन की मदद लेनी पड़ेगी। इस भारी भरकम ताले के बारे में जबसे लोगों को पता चला है, लोग इसे देखने पहुंच रहे है। 

ताले का वजह है 350 किग्रा

अलीगढ़ के ज्वालापुरी के गली नंबर पांच निवासी ताला कारीगर सत्यप्रकाश शर्मा एवं उनकी पत्नी रुकमणि शर्मा ने अब तक के सबसे बडे  300 किलोग्राम के इस ताले को तैयार किया है।

इसे तैयार करने में सत्यप्रकाश शर्मा के साले शिवराज शर्मा और उनके बच्चों ने भी हाथ बंटाया है।  शहर के रामसंस लॉक्स के राजीव कुमार के आर्डर पर यह ताला तैयार किया जा रहा है।

छह फीट दो इंच लंबे और दो फीट साढ़े नौ इंच चौड़े ताले को बनाने में 65 किलोग्राम से अधिक पीतल का इस्तेमाल किया गया है। इसका खर्च करीब एक लाख रुपये आया है।सत्यप्रकाश शर्मा कहते हैं कि ताला तो बनकर तैयार है।

इसे और बेहतर आकार देने का निर्णय लिया गया है,इसके कड़े को बदलने पर इसका वजन 350 किलोग्राम तक पहुंच जाएगा, रामसंस लॉक्स के राजीव कुमार कहते हैं कि 70 प्रतिशत काम हो गया है,  तैयार होने के बाद यह दुनिया का सबसे बड़ा ताला होगा।

रुकमणि शर्मा, सत्यप्रकाश शर्मा एवं शिवराज शर्मा ने बताया कि इस भारी भरकम ताले को बनाने में लॉकडाउन के समय से ही जुटे हैं। सत्यप्रकाश कहते हैं कि अभी 6 लीवर का ताला तैयार हुआ है। तीन फुट चार इंच की चाबी का वजन 25 किलोग्राम से अधिक है।

सत्यप्रकाश ने बताया कि उनके पिता भोजराज शर्मा ने भी 40 किलोग्राम एवं उससे अधिक वजन के कुछ ताले बनाए थे। एक ताला कोलकाता गया था तथा दूसरा अलीगढ़ में है।

 सोशल मीडिया पर वायरल

 जब से अलीगढ़ में दुनिया के सबसे बडे ताले के निर्माण की खबर आई हैं लोग यहां बडी संख्या में पहुंचकर फोटो खींच रही है। कुछ ही दिनों में इस ताले की फोटो सोशल मीडिया पर छा गई है। लोग बडे गौरव के साथ अलीगढ़ की कारीगरी का बखान कर रहे है। 


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