बैंकों के फंसे कर्ज को वसूलेगा बैड बैंक, बैंकों की एनपीए खरीदेगा आरबीआई, जुलाई तक स्थिति होगी साफ
एनएआरसीएल की अवधारणा आरबीआई ने बैड बैंक के तौर पर की है। इस बारे में वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने आम बजट 2021-22 में एलान किया था।एनएआरसीएल में केनरा बैंक की सबसे ज्यादा 12 फीसद के साथ प्रमोटर हिस्सेदारी होगी। इसमें सरकारी बैंकों की 51 फीसद और निजी बैंकिंग कंपनियों की 49 फीसद हिस्सेदारी होगी।
नई दिल्ली। बैंकों के डूबते हुए कर्ज को वसूलने के लिए सरकार बड़ा कदम उठाने जा रही है। वित्त मंत्रालय ने नेशनल असेट्स रिकंस्ट्रक्शन कंपनी लिमिटेड (एनएआरसीएल) यानी बैड बैंक की स्थापना को लेकर नियम-कानून को अंतिम रूप देना शुरू कर दिया है।
नए नियमों इस महीने के अंत तक लागू कर दिए जाने की पूरी उम्मीद है। इस बैंक में कई सरकारी बैंकों की हिस्सेदारी होगी। यह बैंकिंग कंपनियों से उनके फंसे कर्ज (एनपीए) के खाते को खरीदेगा और उसकी वसूली की व्यवस्था करेगा। इस तरह से वित्तीय संस्थानों को लंबे समय तक एनपीए का बोझ नहीं उठाना पड़ेगा।
एनएआरसीएल की अवधारणा आरबीआई ने बैड बैंक के तौर पर की है। इस बारे में वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने आम बजट 2021-22 में एलान किया था।एनएआरसीएल में केनरा बैंक की सबसे ज्यादा 12 फीसद के साथ प्रमोटर हिस्सेदारी होगी। इसमें सरकारी बैंकों की 51 फीसद और निजी बैंकिंग कंपनियों की 49 फीसद हिस्सेदारी होगी।
एनपीए की हो चुकी है पहचान
बैंकों के स्तर पर उन एनपीए खाते की पहचान भी कर ली गई है जिनका हस्तांतरण बैड बैंक में किया जाएगा। एक आकलन के मुताबिक एनएआरसीएल के पहले वित्त वर्ष के दौरान ही 90,000 करोड़ रुपये तक के एनपीए खातों का हस्तांतरण होगा।
कई एजेंसियों ने हाल ही में यह रिपोर्ट दी है कि कोरोना की दूसरी लहर के बाद बैंकों में फंसे कर्ज में भारी वृद्धि होगी।बैंकों के एनपीए खरीदेगा बैड बैंक, कई बैंकों की होगी हिस्सेदारी, जून अंत तक नियम आने की उम्मीद।
एनएआरसीएल की अवधारणा आरबीआइ ने बैड बैंक के तौर पर की है। इस बारे में वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने आम बजट 2021-22 में एलान किया था।एनएआरसीएल में केनरा बैंक की सबसे ज्यादा 12 फीसद के साथ प्रमोटर हिस्सेदारी होगी।
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