प्रयागराज में पहले छोटे बेटे की हत्या, अब बड़े बेटे का मिला शव, परिवार बेहाल
दो माह के भीतर एक ही परिवार के दो बच्चों की मौत से पूरे गांव में सन्नाटा पसरा हुआ है। पुलिस की कार्य प्रणाली से आक्रोशित ग्रामीणों ने मऊआइमा स्थित प्रयागराज-प्रतापगढ़ राजमार्ग पर शव रख कर चक्का जाम कर दिया। एसपी गंगापार ने दोषियों की गिरफ्तारी का भरोसा देकर लोगों को मनाया तब जाकर वे सड़क से हटे।
प्रयागराज। प्रयागराज के एक परिवार पर पिछले दो माह से गमों के बादल छाए हुए है। दो माह पूर्व घर के छोटे बेटे की हत्या हो गई, जिसकी जांच अभी पुलिस कर ही रही है। इसी बीच शनिवार को इंटर में पढ़ने वाले बड़े बेटे का भी शव फूलपुर स्थित रेलवे क्रासिंग के पास मिलने से परिवार पर मानों गमों का पहाड़ ही टूट पड़ा है।
दो माह के भीतर एक ही परिवार के दो बच्चों की
मौत से पूरे गांव में सन्नाटा पसरा हुआ है। पुलिस की कार्य प्रणाली से आक्रोशित ग्रामीणों ने मऊआइमा स्थित प्रयागराज-प्रतापगढ़ राजमार्ग पर शव रख कर चक्का जाम कर दिया।
एसपी गंगापार ने दोषियों की गिरफ्तारी का भरोसा देकर लोगों को मनाया तब जाकर वे सड़क से हटे। इस चक्काजाम की वजह से दोनों तरफ दूर तक वाहनों की कतार लग गई थी। शव को पोस्टमार्टम के लिए भेजकर पुलिस ने आवागमन को सुचारू कराया।
छोटे बेटे की हत्या नहीं सुलझी गुत्थी
मऊआइमा थाना क्षेत्र के कटभर परवेजपुर गांव निवासी हरिकेश गौतम के 14 वर्षीय पुत्र आदर्श की 15 जनवरी को हत्या कर दी गई। उसका सिर बेरहमी से कूंचा गया था।
पुलिस ने इस घटना में कत्ल का केस तो लिखा लेकिन दो महीने से ज्यादा वक्त गुजर जाने के बाद कातिलों का पता तक नहीं लगाया जा सका है। अब तक यह रहस्य बना है कि आखिर आदर्श को किन लोगों ने और किस वजह से मार डाला था। छोटे बेटे की मौत के सदमे से परिवार के लोग अभी उबर भी नहीं सके थे कि अब उन्हें एक और आघात का सामना करना पड़ गया है।
रेलवे ट्रैक पर मिला शव
दो माह पहले मारे गए आदर्श के बड़े भाई नीरज का शव शनिवार की सुबह फूलपुर रेलवे स्टेशन के पूर्वी छोर के पास रेलवे लाइन पर मिला। लोगों से खबर पाकर पहुंची पुलिस को शव के पास एक कागज मिला जिसके बारे में कहा जा रहा है कि वह सुसाइड नोट है।
खबर पाकर नीरज के परिवार के लोग रोते बिलखते पहुंच गए। इसके बाद पुलिस द्वारा सील किए गए शव को प्रयागराज-प्रतापगढ़ राजमार्ग स्थित मऊआइमा चौराहे पर रखकर परिवार और गांव के लोग धरने पर बैठ गए।
इससे हाईवे पर जाम लग गया। सोरांव से लेकर विश्वनाथ गंज तक वाहनों की कतार लग गई। आखिरकार करीब ढाई घंटे बाद एसपी गंगापार धवल जायसवाल और क्षेत्राधिकारी अमिता सिंह के समझाने बुझाने पर लोगों ने चक्का जाम समाप्त किया तो शव को हटाया गया।
परिवार का रो-रोकर बुरा हाल
दो माह में ही परिवार के दो बच्चों की मौत से परिवार वालों का बुरा हाल है। वहीं उन दोनों की मां बार-बार अपने बच्चों को याद करके बेहोश हो जा रही हैं। आसपाास की महिलाएं उन्हें संभालने में जुटी है। उन्हें विश्वास ही नहीं हो रहा हैं कि उनके दोनों बेटे अब इस दुनिया में नहीं रहे।