उन्नाव से कांग्रेस की पूर्व सांसद अन्नू टंडन समेत चार नेताओं को 2 साल की सजा
मालूम हो कि वर्ष 2017 में धरना-प्रदर्शन के दौरान ट्रेन रोकने के मामले में एमपी-एमएलए की विशेष अदालत ने उन्नाव से कांग्रेस की पूर्व सांसद अन्नू टंडन व उनके साथ तत्कालीन जिलाध्यक्ष सूर्य नारायण यादव, नगर अध्यक्ष अमित शुक्ला और युवा कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष अंकित परिहार को भी दोषी करार दिया है।
लखनऊ। गुरुवार को कोर्ट ने यूपी की उन्नाव से कांग्रेस की पूर्व सांसद अन्नू टंडन समेत चार नेताओं को वर्ष 2017 में धरना प्रदर्शन के दौरान ट्रेन रोकने के मामले में दो साल कैद की सजा सुनाई है।
अन्नू टंडन के साथ तत्कालीन जिलाध्यक्ष सूर्य नारायण यादव, नगर अध्यक्ष अमित शुक्ला और युवा कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष अंकित परिहार को भी दोषी करार दिया है। यह सजा लखनऊ की एमपी-एमएलए की विशेष अदालत के जज पवन कुमार राय ने सुनाई।
12 मिनट रोकी थी ट्रेन
मालूम हो कि वर्ष 2017 में धरना-प्रदर्शन के दौरान ट्रेन रोकने के मामले में एमपी-एमएलए की विशेष अदालत ने उन्नाव से कांग्रेस की पूर्व सांसद अन्नू टंडन व उनके साथ तत्कालीन जिलाध्यक्ष सूर्य नारायण यादव, नगर अध्यक्ष अमित शुक्ला और युवा कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष अंकित परिहार को भी दोषी करार दिया है। विशेष जज पवन कुमार राय ने अन्नू टंडन समेत सभी मुल्जिमों को दो-दो साल के साधारण कारावास की सजा सुनाई है।
साथ ही दंड प्रक्रिया संहिता की धारा 157 व 159 के प्रावधानों के तहत 25-25 हजार की क्षतिपूर्ति भी अदा करने का आदेश दिया है। उन्होंने इसके साथ ही सभी मुल्जिमों की जमानत अर्जी भी मंजूर कर ली है।
जानकारी के अनुसार उन्नाव स्टेशन के पूर्वी किनारे पर बने ओवरब्रिज के पास कांग्रेस का बैनर व झंडा आदि लिए प्रदर्शनकारी खड़े थे। इस प्रदर्शन का नेतृत्व अन्नू टंडन व अन्य मुल्जिम कर रहे थे। उसी समय ट्रेन संख्या 18191 प्लेटफार्म नंबर दो पर आ रही थी। ट्रेन को आता देखकर प्रदर्शनकारी लाइन नंबर दो पर खड़े हो गए। भीड़ को लाइन पर खड़ा देखकर चालक ने ट्रेन को प्लेटफार्म से पहले ही रोक दिया था।
गाड़ी के रुकते हुए प्रदर्शनकारी दौड़कर इंजन पर चढ़ गए और नारेबाजी करने लगे। उन्हें किसी तरह समझा.बुझाकर उतारा गया और रेलवे लाइन से बाहर किया गया। इस घटना से ट्रेन 12 मिनट प्रभावित हुई।
12 जून, 2017 को इस मामले की शिकायत रेलवे सुरक्षा बल ने दर्ज कराई थी। विवेचना के बाद एसआइ मिथिलेश कुमार यादव ने मुल्जिमों के खिलाफ रेलवे एक्ट की धारा 174;ए के तहत आरोपपत्र दाखिल किया था।