हरदोई: चुनाव ड्यूटी से नहीं कटा पत्नी का नाम तो भाजपा नेता ने छोड़ी पार्टी, यूं बयां किया अपना दर्द
उनकी कोरोना की एंटीजन रिपार्ट पॉजिटिव आई है। घर पर 10 साल का बेटा व दो साल की बेटी है। अन्य कोई देखभाल के लिए नहीं है। ऐसे में पत्नी की पंचायत चुनाव में ड्यूटी बेहंदर ब्लॉक में लगाई गई है। बताया कि भाजपा जिलाध्यक्ष से ड्यूटी कटवाने के लिए कहा, लेकिन उन्होंने यह कहकर असमर्थता जताई कि डीएम किसी की ड्यूटी नहीं काट रहे हैं।
हरदोई। यूपी में कोरोना के बढ़ते मामलों के बीच हो रहे पंचायत चुनाव में अपनी पत्नी की ड्यूटी न हटवा पाने के मलाल में भाजपा नेता ने अपने पद से ही इस्तीफा दे दिया। वहीं सोशल मीडिया में इस भाजपा नेता ने अपना दर्द भी बयां किया है।
दरअसल यूपी पंचायत चुनाव में पत्नी की ड्यूटी नहीं कटने से नाराज भाजपा के चिकित्सा प्रकोष्ठ के जिला संयोजक डॉ. अनुराग शुक्ला ने बीते रोज पद व पार्टी की प्राथमिक सदस्यता से इस्तीफा दे दिया। वहीं सोशल मीडिया पर वीडियो पोस्ट करते हुए इस भाजपा नेता ने अपना दर्द भी बयां किया।
उधर चंद मिनटों में यह प्रकरण सियासी गलियारों में सूर्खिया बटोरने लगा। भाजपा जिला संयोजक के मुताबिक उनकी कोरोना की एंटीजन रिपार्ट पॉजिटिव आई है। घर पर 10 साल का बेटा व दो साल की बेटी है। अन्य कोई देखभाल के लिए नहीं है। ऐसे में पत्नी की पंचायत चुनाव में ड्यूटी बेहंदर ब्लॉक में लगाई गई है।
बताया कि भाजपा जिलाध्यक्ष से ड्यूटी कटवाने के लिए कहा, लेकिन उन्होंने यह कहकर असमर्थता जताई कि डीएम किसी की ड्यूटी नहीं काट रहे हैं। बताया कि निकट के किसी पोलिंग स्टेशन पर ड्यूटी लगवाने को कहा गया लेकिन सुनवाई नहीं हुई। उनके मुताबिक वह 2008 से पार्टी से जुड़ा है।
लेकिन उनकी ही कोई सुनवाई नहीं हो रही तो और के लिए वह क्या कर पाएगा। बताया कि इसी से आहत होकर वह अपने पद से इस्तीफा दे रहे हैं। बताया कि जिले में भाजपा सबसे कमजोर हो गई है। वहीं बुधवार को सोशल मीडिया पर पोस्ट डाल उन्होंने अपना दर्द बयां किया। पूरे दिन उनका वीडियो चर्चा सूर्खियों में रहा।
इधर हरदोई भाजपा जिलाध्यक्ष सौरभ मिश्रा की इस पर सफाई भी आ गयी हैं। उनके मुताबिक नियम सभी के लिए बराबर हैं। भाजपाई हो या आम जनता। भाजपाई होने का यह अर्थ नहीं कि चुनाव ड्यूटी नहीं करेंगे। हेलमेट नहीं पहनेंगे या मास्क नहीं लगाएंगे। उनके मुताबिक भाजपाई चुनाव ड्यूटी नहीं करेंगे तो कौन करेगा?
बताया कि परेशानी को देखते हुए ड्यूटी कट जानी चाहिए थी। लेकिन यदि ड्यूटी नहीं कटी तो इसका मतलब यह तो नहीं कि पार्टी ही बेकार हो गई। उन्होंने बताया कि अभी इस्तीफा नहीं मिला है। जैसे मिलेगा वैसे ही स्वीकार कर लिया जाएगा।