प्रयागराज में लगे जाम में फंसने से प्रसूता की मौत, खुशी गम में बदली
प्रयागराज के जसरा रेलवे क्रासिंग पर लगे भीषण जाम ने सोमवार को एक प्रसूता की जान ले ली, इससे घर में आई खुशी चंद घंटे में ही मातम में बदल गई।
प्रयागराज। प्रयागराज के जसरा रेलवे क्रासिंग पर लगे जाम ने एक प्रसूता की जान ले ली। इससे घर में आई खुशी चंद घंटे में ही मातम में बदल गई। मालूम हो कि जसरा रेलवे क्रासिंग पर लगने वाले जाम की स्थिति भयानक होती जा रही है
रेलवे क्रासिंग पर ट्रेनों के आने जाने के बाद कई घंटे तक जाम लगा रहता है। क्योंकि एक बार वाहन चालक आड़े-तिरछे खड़े हो जाते है तो रास्ता साफ होने में कई घंटे लग जाते है।
प्रसव के बाद तबियत बिगड़ने पर परिजन उसे लेकर दोबारा अस्पताल जा रहे थे। इसी दौरान गाड़ी जाम में फंस गए, कुछ देर जाम खुलने का इंतजार करते रहे, फिर बाजार से चारपाई खरीदकर उस पर लेकर महिला को लेकर अस्पताल भागे।
इसके बाद भी महिला की जान नहीं बचाई जा सकी। जाम से क्रासिंग के दोनों तरफ वाहनों की लंबी लाइनें लग रही हैं। जिसे पार करने में लोगों को पांच-छह घंटे लग जाते हैं।
बारा क्षेत्र के पिपरांव गांव की सुशीला चौहान (25) पत्नी बृजेश चौहान का जसरा सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में रविवार की रात प्रसव हुआ था।सोमवार सुबह डिस्चार्ज होकर वह बच्चे के साथ घर चली गई।
कुछ देर बाद उसकी हालत बिगड़ने लगी तो घरवाले उसे लेकर अप्पे गाड़ी से सीएचसी जसरा भागे। जसरा बाजार के पहले ही गाड़ी जाम में फंस गई।हालत अधिक बिगड़ने पर सुशीला को सीएचसी से कुछ पहले स्थित नर्सिंग होम में ले गए।
डॉक्टरों ने चेक कराया कि महिला की मौत हो चुकी है। महिला की मौत से घर में कुछ देर बने खुशी का माहौल गम में बदल गया। परिजन रोते -विलखते शव को लेकर घर की ओर फिर रवाना हुए।
जसरा रेलवे क्रॉसिंग पर अक्सर रात को ही जाम की स्थित बनती थी, लेकिन इधर दिन में 3:00 बजे से नो एंट्री खोले जाने के कारण दिन में भी गाड़ियों का सड़कों पर मजमा लगा रहता है। स्थानीय लोगों के मुताबिक अमूमन जसरा रेलवे क्रॉसिंग एक बार बंद होती है तो दो ट्रेनें पास कराई जाती हैं।
इस दौरान क्रासिंग के दोनों तरफ वाहनों की लंबी लाइनें लग जाती हैं और रास्ता जाम हो जाता है। जिसके चलते आम लोगों का निकलना मुश्किल हो जाता है। जाम खुलने में घंटों लग जाते हैं।