अब महिलाओं को यूं स्वच्छता की 'कोचिंग' देंगीं नेशनल अवार्डी टीचर स्नेहिल
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महिलाओं के लिए किए जा रहे इस काम में समाजसेवियों का भी साथ मिल रहा है। पांडेय का कहना है,जब तक हरामऊ,सरौती, लालपुर मिर्जापुर, सतगुरुखेड़ा ,हीराखेड़ा, चुन्नीखेड़ा,रसूलपुर,हसनापुर आदि अनेकों जुड़े हुए गांव में हर घर में पैड्स वितरण सुनिश्चित नहीं कर लेंगे, तब तक वह अपने इस कार्यक्रम को जारी रखेंगी।
उन्नाव। उन्नाव जनपद के नवाबगंज क्षेत्र की अंग्रेजी माध्यम, सोहरामऊ की बेसिक शिक्षा विभाग की शिक्षिका स्नेहिल पाण्डेय को मॉडल स्कूल वर्ष 2020 में राष्ट्रीय पुरस्कार से सम्मानित किया गया था।
अब उत्तर प्रदेश मिशनशक्ति योजना में पोस्टर में आने के बाद उन्होंने ये ठाना है कि वह अपनी शिक्षा के आयाम को विद्यालय से आगे बढ़ाते हुए समाज में भी लेकर जाएंगी। जिसके तहत उन्होंने प्रतिदिन महिलाओं में नि:शुल्क सेनैटरी पैड वितरण का कार्यक्रम शुरू किया है।
जुलाई से शुरू किया अभियान
इस मुहिम के तहत उन्होंने जुलाई में सत्र के आरंभ में नि:शुल्क पैड वितरण प्रारंभ किया गया था,जिसके तहत लगभग 565 महिलाएं इससे लाभान्वित हो चुकी हैं। एक स्वयंसेवी संस्था के माध्यम से उन्होंने विद्यालय में पैड एकत्र करवाएं हैं ।
ड्रॉपआउट बच्चियां एवं आउट ऑफ स्कूल किशोरियों को चिन्हित करते हुए उन्हें हर सातवें दिन विद्यालय में बुलाकर छोटी सी कार्यशाला के माध्यम से मासिक धर्म तथा स्वच्छता एवं स्वास्थ्य के बारे में जागरूकता दी जाती है ।
समाजसेवियों का मिल रहा साथ
महिलाओं के लिए किए जा रहे इस काम में समाजसेवियों का भी साथ मिल रहा है। पांडेय का कहना है,जब तक हरामऊ,सरौती, लालपुर मिर्जापुर, सतगुरुखेड़ा ,हीराखेड़ा, चुन्नीखेड़ा,रसूलपुर,हसनापुर आदि अनेकों जुड़े हुए गांव में हर घर में पैड्स वितरण सुनिश्चित नहीं कर लेंगे, तब तक वह अपने इस कार्यक्रम को जारी रखेंगी।
इस कार्यक्रम के लिए उन्होंने लगभग 11 महिला वॉलिंटियर्स का चयन किया है। जो प्रत्येक गांव से महिलाओं को चिन्हित करके उनके घर सैनिटरी नैपकिंस का वितरण करती हैं।और इस बात का विद्यालय में बाकायदा डॉक्यूमेंटेशन भी होता है।
मोहल्ला क्लास का किया शुभारंभ
कोरोना वायरस की वजह से जब स्कूल बंद रहे तो छात्रों के लिए स्नेहिल पांडे ने मोहल्ला क्लास प्रारंभ की है। जिसका उन्हें भरपूर अच्छा रिस्पांस भी मिल रहा है । अब गांव की महिलाएं भी स्वच्छता को बल देते हुए सैनिटरी नैपकिन का प्रयोग करने लगी हैं।
विद्यालय के समस्त स्टाफ का सहयोग रहता है और स्नेहिल पांडेय का कहना है कि वह प्रयासरत हैं कि सोहरामऊ ग्राम के आसपास सामुदायिक सहयोग से वह कहीं सेनेटरी पैड बनाने से संबंधित यूनिट भी प्रारंभ करवा सकें।
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