एमयू के हिजाब प्रकरण ने लिया राजनीतिक मोड़, छात्रा की मां ने उठाया ये क़दम
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कुछ भटके हुए नौजवान संस्कृति भुलाकर असभ्यता का प्रदर्शन गाहे-बगाहे करते रहते हैं। कपड़े पहनने की अभिव्यक्ति पर मेरी बेटी को असभ्य शब्दों का सामना निरंतर करना पड़ रहा है।
अलीगढ़। एएमयू की इंजीनियरिंग छात्रा को हिजाब पहनाने की धमकी के मामले में अब राजनीति भी शुरू हो गई है। वहीं दूसरी ओर छात्रा की मां ने एएमयू कुलपति को पत्र लिखा है, जिसमें बेटियों की सुरक्षा का मुद्दा उठाया गया है। वहीं ट्वीट करके भी इस मामले को उदाहरण के तौर पर पेश करते हुए बेटियों की आवाज़ व सुरक्षा का मामला उठाया है।
'ये मानसिकता स्वीकार्य नहीं होनी चाहिए'
छात्रा की मां ने कुलपति को पत्र लिखने के साथ साथ ट्वीट कर कहा है कि एएमयू ही नहीं देश भर के किसी भी शिक्षण संस्थान में पढ़ने जाने वाली बेटियों के प्रति इस तरह के अपशब्द कहा जाना उचित नहीं है। ये मानसिकता कभी भी समाज में स्वीकार्य नहीं होनी चाहिए। एएमयू की संस्कृति को पुराना व महान माना जाता है। मगर, कुछ भटके हुए नौजवान संस्कृति भुलाकर असभ्यता का प्रदर्शन गाहे-बगाहे करते रहते हैं। कपड़े पहनने की अभिव्यक्ति पर मेरी बेटी को असभ्य शब्दों का सामना निरंतर करना पड़ रहा है। विश्वविद्यालय प्रशासन से अनुरोध है कि ऐसे लोगों व बेटियों संग होने वाली प्रताड़ना को रोका जाए। साथ में कुलपति को पांच बिंदुओं में पत्र भी लिखा है, जिसमें सुरक्षा सहित अन्य काफी बातों का उल्लेख किया है। इधर, यह मामला लगातार सुर्खियों में होने के कारण पुलिस स्तर से आरोपी को पकड़ने को लेकर तमाम प्रयास किए जा रहे हैं।
आरोपी को कारण बताओ नोटिस
अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय प्रशासन ने सोशल मीडिया पर एक छात्रा को हिजाब पहनने के लिए मजबूर करने और धमकाने के प्रकरण में आरोपी छात्र को कारण बताओ नोटिस जारी कर दिया है। विश्वविद्यालय के जनसंपर्क विभाग के एमआईसी प्रोफेसर शाफे किदवई ने बताया कि विश्वविद्यालय में छात्राओं के लिए किसी भी प्रकार का कोई ड्रेस कोड निर्धारित नहीं है। उन्होंने कहा कि जहां तक इस घटना के विवाद के बारे में जानकारी है, छात्रा को कथित रूप से पीतल का घूंघट पहनने के लिए कहा गया है और अश्लील टिप्पणी की गई थी। विश्वविद्यालय प्रशासन इसकी कड़े शब्दों में निंदा करता है। इस संबंध में आरोपी छात्र को कारण बताओ नोटिस जारी कर दिया गया है।
हिजाब पहनाने के बयान की निंदा
जनसत्ता दल लोकतांत्रिक के जिलाध्यक्ष डीपी सिंह के आवास पर एक बैठक हुई, जिसमें एएमयू में पढ़ने वाली हिंदू छात्राओं को हिजाब पहनाने को लेकर दिए गए बयान की निंदा की। पदाधिकारियों ने अन्य संस्थाओं में भारतीय छात्राएं के धार्मिक पहनावे पर तो किसी ने आपत्ति नहीं उठाई तो एएमयू के छात्रों द्वारा ट्विटर पर धमकी देने ओछी मानसिकता का परिचय है। ट्वीट करने वालों के खिलाफ कार्रवाई की मांग की गई। जिला महासचिव जयप्रकाश सेंगर के कहा कि अनर्गल बयानबाजी से बचने की नसीहत दी।
'छात्र की जल्द से जल्द हो गिरफ्तारी'
एएमयू की इंजीनियरिंग छात्रा का मानसिक उत्पीड़न वाले छात्र के खिलाफ लोगों का आक्रोश बढ़ता जा रहा है। भाजपा नेता शशि सिंह ने कहा कि छात्रा पर गलत दबाव बनाना या अशोभनीय टिप्पणी करना मर्यादा के खिलाफ है। महिलाओं के खिलाफ टिप्पणी करने वालों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई होनी चाहिए। वहीं, अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद के प्रदेश मंत्री बलदेव चौधरी सीटू ने कहा कि एएमयू के छात्र नेताओं की मानसिक स्थिति ठीक नहीं है। अलीगढ़ प्रशासन ने मुकदमा दर्ज कर लिया है तो जल्द से जल्द आरोपी छात्र को गिरफ्तार क्यों नहीं करता। क्या प्रशासन किसी अनहोनी का इंतजार कर रहा है।हिंदुओं की भावनाओं से खिलवाड़ करने पर बसपा चुप क्यों। भाजपा युवा मोर्चा के जिलाध्यक्ष मुकेश सिंह लोधी ने बसपा जिलाध्यक्ष पर निशाना साधा है। उन्होंने कहा कि हिंदुओं की भावनाओं के साथ खिलवाड़ करने वाले के खिलाफ कार्रवाई क्यों नहीं कर रहे बसपा के जिलाध्यक्ष। वह आईडी हैक की बात कर सद्दाम के गलत कामों पर पर्दा डालने का प्रयास कर रहे हैं।