सात समंदर पार के दूल्हे ने भारतीय परंपरा अनुसार लिए हिन्दुस्तानी दुल्हन के साथ सात फेरे
अहमदाबाद की रहने वाली धरती ने बताया कि उसकी मुलाकात रोमन से एक वर्ष पूर्व काशी में हुई धरती गुजरात से पढ़कर बनारस नौकरी करने आई। वाराणसी में धरती ने खुद का रेस्टोरेंट चलाती है। इसमें रोमन भारत आने पर जब भी काशी आते वह धरती से मुलाकात करने काशी के अस्सी स्थित धरती के रेस्टोरेंट में जरूर आते।
वाराणसी। वैलेंनटाइन डे पर वैसे तो कई जोड़ों ने एक -दूसरे को अपना साथी चुना है। लेकिन एक जोड़ा ऐसा भी है जो विदेशी होते हुए भी पूरी तरह से भारतीय संस्कृति के तहत अपना वैवाहिक जीवन शुरू किया जो सोशल मीडिया पर छाया हुआ है।
वाराणसी के प्रसिद्ध तीर्थ स्थल चैबेपुर का कैथी स्थित मार्कण्डेय महादेव धाम में रविवार को एक खास विवाह हुआ। यहां विदेशी मूल के दूल्हे और हिन्दुस्तानी दुल्हन का भारतीय परंपरा से विवाह हुआ।
अमदाबाद की रहने वाली धरती ने फ्रांस के लिली शहर के रहने वाले रोमन को वैंलेटाइन डे को अपना हमसफर चुना। दोनों ने भारतीय परिधान सजकर मारकंडेय महादेव धाम पहुंचे, पुरोहितों द्वारा मंत्रोच्चारण के साथ शादी रचाई।
एक साल पहले हुई थी मुलाकात
अहमदाबाद की रहने वाली धरती ने बताया कि उसकी मुलाकात रोमन से एक वर्ष पूर्व काशी में हुई धरती गुजरात से पढ़कर बनारस नौकरी करने आई। वाराणसी में धरती ने खुद का रेस्टोरेंट चलाती है। इसमें रोमन भारत आने पर जब भी काशी आते वह धरती से मुलाकात करने काशी के अस्सी स्थित धरती के रेस्टोरेंट में जरूर आते।यहीं पर दोनों की मुलाकात हुई।
दोनों ने एक-दूसरे में अपना जीवन साथी खोज लिया। रोमन इसी बीच फ्रांस चले गए और उन्होंने वादा किया कि जब भी हम भारत आएंगे धरती को अपना बनाएंगे। इस बार रोमन भारत आने पर काशी आए और उन्होंने धरती से कहा कि अब हम दोनों को साथ हो जाना चाहिए।
इसी क्रम में रोमन और धरती ने वैलेंटाइन डे को चुना लेकिन धरती ने रोमन से कहा के शादी भारतीय परंपरा के अनुसार होगी। दोनों ने मंदिर में आकर विधि विधान से शादी किया उसके बाद दोनों शाम को काशी के गंगा आरती में भी शामिल हुए।
धरती ने बताया कि विवाह के वक्त धरती और रोमन के साथ उनके घर वाले मौजूद नहीं थे दोनों के दोस्तों ने परिवार की रस्में निभाई। पुरोहितों में मुन्ना गिरी, लालू गिरी मौजूद रहे। लालू गिरी ने बताया कि दो अलग-अलग रीति-रिवाजों के लोगों की शादी कराना वास्तव में एक अनोखी बात होती है।
जैसा कि मालूम है कि धरती गुजरात की रहने वाली हैं और रोमन फ्रांस के इसलिए दोनों को अपने अपनी परंपरा के साथ शादी करनी चाहिए। अपने अपने धर्म को मानना चाहिए। शादी होने के बाद धरती और रोमन ने बताया कि भारतीय परंपरा की शादी एक अटूट है।
इसी वजह से काशी में आकर शादी रचाई क्योंकि यह बाबा भोलेनाथ की नगरी है यहां किया गया कार्य कभी असफल नहीं होता। इसलिए यहां आकर शादी रचाई धरती ने कहा कि बचपन से ही मन में था कि मेरा दूल्हा सात समंदर पार का हो इसीलिए मैंने फ्रांस के रहने वाले रोमन के साथ शादी की और अब आगे जाकर वहीं बिजनेस और अपने कारोबार को दोनों मिलकर आगे चलाएंगे।