महाराष्ट्र की दो बहनों का शादी के बाद कराया वर्जिनिटी टेस्ट, फेल होने पर यह सजा मिली

टीम भारत दीप |

समाज की कथित रस्म के अनुसार कौमार्य परीक्षण किया गया,शिकायत में कहा गया है कि इस समुदाय में इस तरह के परीक्षण की परंपरा है।
समाज की कथित रस्म के अनुसार कौमार्य परीक्षण किया गया,शिकायत में कहा गया है कि इस समुदाय में इस तरह के परीक्षण की परंपरा है।

पुलिस ने दोनों पीड़िता बहनों के पति, उनकी सास और तथाकथित जाट पंचायत के सदस्यों के खिलाफ केस दर्ज कर लिया है। इस मामले में गत दिवस कोल्हापुर पुलिस ने केस दर्ज किया है। पुलिस के अनुसार दोनों बहनों द्वारा कराई गई ।

कोल्हापुर।विज्ञान की इतनी प्रगति के बाद भी कुछ जगह अभी भी पुरानी प्रथाओं और सोच को जिंदा रखा गया है। इसी प्रथा से संबंधित एक खबर महाराष्ट्र के कोल्हापुर जिले से सामने आई है।

यहां दो बहनों ने आरोप लगाया है कि शादी के बाद जबरन उनका कौमार्य परीक्षण (वर्जिनिटी टेस्ट) कराया गया और इसमें फेल होने के बाद वहां की जाट पंचायत ने तलाक का आदेश दे दिया। जब किसी तरह इस मामले की जानकारी पुलिस को हुई तो कार्रवाई शुरू हो गई। पुलिस ने पीड़िताओं के पति, सास पर केस दर्ज कर लिया है। 

पुलिस ने दोनों पीड़िता बहनों के पति, उनकी सास और तथाकथित जाट पंचायत के सदस्यों के खिलाफ केस दर्ज कर लिया है। इस मामले में गत दिवस कोल्हापुर पुलिस ने केस दर्ज किया है।

पुलिस के अनुसार दोनों बहनों द्वारा कराई गई शिकायत के आधार पर भादंवि की विभिन्न धाराओं और महाराष्ट्र सामाजिक बहिष्कार रोधी कानून के तहत आरोपियों के खिलाफ एफआईआर दर्ज की गई। 

पांच माह पहले हुई थी दोनों की शादी

शिकायत के अनुसार दोनों पीड़िता महाराष्ट्र के कोल्हापुर जिले के कंजरभाट समुदाय की सदस्य हैं। उन्हें उन्हीं के समुदाय के दो पुरुरषों ने शादी का प्रस्ताव दिया था। इसके बाद 27 नवंबर 2020 को शादी हो गई।

शादी के बाद दोनों बहनों को अलग-अलग शयन कक्षों में ले जाया गया। वहां उनका समाज की कथित रस्म के अनुसार कौमार्य परीक्षण किया गया। शिकायत में कहा गया है कि इस समुदाय में इस तरह के परीक्षण की परंपरा है।

पुलिस के अनुसार,  शिकायत में कहा गया है कि दोनों बहनों से शादी करने वाले पुरुषों में से एक सेना में काम करता है, जबकि दूसरा व्यक्ति निजी संस्थान में नौकरी करता है। जब दोनों बहने कौमार्य परीक्षण में फेल गई तो पंचायत ने उन्हें तलाक की सजा सुना दी।

विज्ञान के अनुसार इस तरह का कौमार्य परीक्षण किसी भी हद तक ठीक नहीं है। वरिष्ठ चिकित्सक डॉ. वीके त्रिपाठी के अनुसार युवती के गुप्तांग में एक बहुत ही पतली झिल्ली सरीखा संरचना होती है, जो खेलते समय, बस में चढते समय साइकिल चलाते समय किसी भी समय टूट जाती है। जबकि इस समाज के लोग इसे ही कुआरी पन का निशानी मानते है। शादी के बाद यहीं अलग से कमरे में चेक किया जाता है जो गलत है।  


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