उत्तर प्रदेश सरकार बनाएगी धार्मिक स्थलों के बेहतर संचालन के लिए कानून, अध्यादेश लाने की तैयारी

टीम भारतदीप |

नए कानून के तहत धार्मिक स्थलों के लिए नियमावली बनेगी और उनका रजिस्ट्रेशन होगा।
नए कानून के तहत धार्मिक स्थलों के लिए नियमावली बनेगी और उनका रजिस्ट्रेशन होगा।

सुप्रीम कोर्ट के आदेश के अनुपालन करने के लिए राज्य सरकार राज्य में धार्मिक स्थलों के बेहतर संचालन के लिए कदम उठाने जा रही है। इसके तहत राज्य सरकार कानून बनाने के साथ ही बाकायदा अध्यादेश लाने की तैयारी कर रही है।

लखनऊ। सुप्रीम कोर्ट के आदेश के अनुपालन करने के लिए राज्य सरकार राज्य में धार्मिक स्थलों के बेहतर संचालन के लिए कदम उठाने जा रही है।

इसके तहत राज्य सरकार कानून बनाने के साथ ही बाकायदा अध्यादेश लाने की तैयारी कर रही है। इस कानून के तहत धार्मिक स्थलों के लिए नियमावली बनेगी और उनका रजिस्ट्रेशन होगा। इन संस्थानों का संचालन, सुरक्षा की व्यवस्था होगी।

इसके साथ ही सबसे अहम बात ये है कि इन स्थलों पर आने वाले चढ़ावे व चंदा का सदुपयोग सरकार सुनिश्चित करेगी। राज्य सरकार चाहती है कि धार्मिक स्थलों पर हक को लेकर होने वाला विवाद खत्म हो जाए और इसके संचालन के लिए एक नीति बने।

बता दें कि इस संबंध में यूपी के सीएम योगी आदित्यनाथ के समक्ष मंगलवार को धर्मार्थ कार्य विभाग ने धार्मिक स्थल रजिस्ट्रेशन एंड रेगुलेश्न अध्यादेश के प्रारूप का प्रस्तुतीकरण किया। इस प्रेजेंटेशन में मुख्यमंत्री ने खुद कुछ जरूरी सुधार के साथ विधि विशेषज्ञों से राय लेने का सुझाव दिया है।

बता दें कि सरकार प्रदेश के मंदिरों, मस्जिदों और अन्‍य धार्मिक स्‍थलों के पंजीकरण और संचालन के लिए नियम-कायदे तय करने पर विचार कर रही है। हालांकि सरकार इसमें कहीं से कोई चूक नहीं चाहती है, इसलिए सरकार दूसरे राज्यों के कानूनों और प्रस्तावों का भी अध्ययन कर रही है।

वहीं सरकार ये भी तय करेगी कि इस संबंध में सभी सहमति से नियम बनाएं जाएं। हालांकि इसके दायरे में बड़े व प्रतिष्ठित धार्मिक स्थल आएंगे। बड़े और प्रतिष्ठित धार्मिक स्थलों को अध्यादेश आने के बाद पंजीकरण कराना अनिवार्य कर दिया जाएगा।

इसके साथ ही अध्यादेश में बनाए गए नियमों का पालन करना होगा। धार्मिक स्थलों को संचालन समिति के बारे में पूरी जानकारी भी देनी होगी। सुप्रीम कोर्ट ने श्रद्धालुओं की सुविधा और धर्मिक स्थलों के रखरखाव आदि की व्यवस्था के लिए निर्देश दिए हैं। प्रदेश सरकार ने सुप्रीम कोर्ट के आदेश के अनुपालन में यह कवायद शुरू की है।

बताते चले कि राज्य सरकार पिछले दिनों धर्मार्थ कार्य निदेशालय के गठन का फैसला कर चुकी है। इससे काशी विश्वनाथ मंदिर विस्तारीकरण-सुंदरीकरण योजना, काशी विश्वनाथ विशिष्ट क्षेत्र परिषद अधिनियम, कैलाश मानसरोवर भवन गाजियाबाद का संचालन और प्रबंधन होगा।


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